वैष्णो देवी के लिए रतलाम से 26 फरवरी को तीर्थ यात्रा रवाना होगी
निर्धारित कोटे से 10 प्रतिशत अतिरिक्त तीर्थ यात्रियों की पृथक से सूची तैयार करेंगे.
रतलाम। मुख्यमंत्री तीर्थ दर्शन योजना अंतर्गत आगामी 26 फरवरी को रतलाम से यात्री जाएंगे। यात्रा के लिए आवेदन देने की अंतिम तिथि 20 फरवरी है। रतलाम से 200 यात्री सम्मिलित होंगे। सीईओ जिला पंचायत श्री संदीप केरकेट्टा ने बताया की योजना के तहत वरिष्ठ नागरिक जो 60 वर्ष से अधिक आयु के हैं जो आयकरदाता नहीं है, पात्र होंगे।
पूर्व में यात्रा हेतु जिन व्यक्तियों का चयन नहीं हुआ है, उनके आवेदन पत्र यथावत रहेंगे और भविष्य में होने वाली इन्हीं स्थानों की यात्रा के लिए उन व्यक्तियों को पुनः आवेदन करने की आवश्यकता नहीं होगी। व्यक्ति केवल यह आवेदन देगा कि वह नवीन तिथि जिसके लिए लाटरी निकाली जा रही है, पर यात्रा करने हेतु सहमत है। पूर्व के आवेदन पत्रों, नवीन आवेदन पत्रों को सम्मिलित कर नवीन यात्रा के लिए लाटरी निकाली जाएगी। आवेदन निकटतम तहसील, स्थानीय निकाय, जनपद कार्यालय पर जमा किए जा सकेंगे। यात्रियों के स्वास्थ्य परीक्षण हेतु एक शासकीय डाक्टर की ड्यूटी लगाना सुनिश्चित किया जाएगा। ड्यूटी डाक्टर यदि चाहे तो अपनी पत्नी को यात्रा में साथ ले जा सकते हैं। डाक्टर एवं उनकी पत्नी आवंटित कोटे में सम्मिलित नहीं माने जाएंगे। डाक्टर का मोबाइल नम्बर आईआरसीटीसी को उपलब्ध कराना सुनिश्चित करेंगे।
यदि जिले को आवंटित निर्धारित कोटे से अधिक आवेदन प्राप्त होते हैं तो ऐसी स्थिति में यात्रियों का चयन कम्प्यूटराईज्ड लाटरी द्वारा किया जाएगा। निर्धारित कोटे से 10 प्रतिशत अतिरिक्त तीर्थ यात्रियों की पृथक से सूची तैयार करेंगे। किसी कारण से कतिपय तीर्थ यात्री यात्रा में जाने में असमर्थ रहते हैं तो ऐसी स्थिति में प्रतीक्षा सूची के अनुक्रम अनुसार तीर्थ यात्रियों को यात्रा पर भेजे जा सकते हैं। इसी प्रकार किसी जिले को आवंटित यात्रियों का कोटा पूर्ण नहीं होने पर उसे अन्य जिले की प्रतीक्षा सूची, प्राप्त आवेदनों में पूर्ति की जा सकेंगी। 65 वर्ष से अधिक आयु के पति-पत्नी यदि साथ यात्रा कर रहे हैं तो उन्हें भी अनुरक्षक साथ ले जाने की पात्रता है। इसी प्रकार दिव्यांग (60 प्रतिशत विकलांग) व्यक्ति भी इस यात्रा हेतु पात्र है (बशर्ते कि वह यात्रा करने हेतु अन्यथा सक्षम है) तथा उस पर आयु बंधन लागू नहीं होगा। दिव्यांग (60 प्रतिशत विकलांग) व्यक्ति को भी अनुरक्षक साथ ले जाने की पात्रता है।
यदि जिले को आवंटित निर्धारित कोटे से अधिक आवेदन प्राप्त होते हैं तो ऐसी स्थिति में यात्रियों का चयन कम्प्यूटराईज्ड लाटरी द्वारा किया जाएगा। निर्धारित कोटे से 10 प्रतिशत अतिरिक्त तीर्थ यात्रियों की पृथक से सूची तैयार करेंगे। किसी कारण से कतिपय तीर्थ यात्री यात्रा में जाने में असमर्थ रहते हैं तो ऐसी स्थिति में प्रतीक्षा सूची के अनुक्रम अनुसार तीर्थ यात्रियों को यात्रा पर भेजे जा सकते हैं। इसी प्रकार किसी जिले को आवंटित यात्रियों का कोटा पूर्ण नहीं होने पर उसे अन्य जिले की प्रतीक्षा सूची, प्राप्त आवेदनों में पूर्ति की जा सकेंगी। 65 वर्ष से अधिक आयु के पति-पत्नी यदि साथ यात्रा कर रहे हैं तो उन्हें भी अनुरक्षक साथ ले जाने की पात्रता है। इसी प्रकार दिव्यांग (60 प्रतिशत विकलांग) व्यक्ति भी इस यात्रा हेतु पात्र है (बशर्ते कि वह यात्रा करने हेतु अन्यथा सक्षम है) तथा उस पर आयु बंधन लागू नहीं होगा। दिव्यांग (60 प्रतिशत विकलांग) व्यक्ति को भी अनुरक्षक साथ ले जाने की पात्रता है।
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